Indian Railway: बिहार की पेपर गैंग ट्रेन में सक्रिय, महिला यात्रियों को बनाते हैं निशाना, रहें सतर्क

Bilaspur News | आरपीएफ और जीआरपी की संयुक्त टीम ने ट्रेन में चोरी करने वाले अंतरराज्यीय पेपर गैंग के तीन सदस्यों को गिरफ्तार किया है। इन आरोपितों के कब्जे से गहने भी बरामद किए गए हैं, जिन्हें उन्होंने अक्टूबर महीने में लोकल ट्रेन से चोरी किया था।

आरोप और गिरफ्तारी
तीनों आरोपितों के खिलाफ बिलासपुर जीआरपी ने धारा 305(सी) बीएनएस के तहत अपराध दर्ज किया है। जब्त गहनों की कीमत 81,170 रुपये आंकी गई है। यह गैंग 08737 रायगढ़-बिलासपुर लोकल ट्रेन में हुई चोरी की घटना की जांच के दौरान पकड़ा गया है।
अज्ञात चोर महिला यात्री के लेडीज पर्स की चेन खोलकर उसमें रखा गहनों का सामान, जैसे गहने, कान की बालियां और पाजेब, चोरी कर ले गए थे। इस मामले की जांच के लिए रेलवे सुरक्षा बल के प्रधान मुख्य सुरक्षा आयुक्त और महानिरीक्षक मुनव्वर खुर्शीद ने तुरंत जांच के आदेश दिए।

गुप्त निगरानी से गिरफ्तारी
रेलवे सुरक्षा बल की अपराध गुप्त शाखा बिलासपुर ने लोकल और पैसेंजर ट्रेनों की गुप्त निगरानी शुरू की थी। इस जांच में बिलासपुर आरपीएफ पोस्ट के प्रभारी राजेश वर्मा, बिलासपुर जीआरपी थाना प्रभारी भोलानाथ मिश्रा और अपराध गुप्त शाखा के प्रभारी निरीक्षक कर्मपाल सिंह गुर्जर के नेतृत्व में टीम ने कई संदिग्धों की पहचान की।

संदिग्धों की पहचान
इस दौरान महिला यात्री से आरोपितों के हुलिए के बारे में जानकारी ली गई। उन्होंने संदेह जताया कि चोर बिहार के 35-40 साल के पुरुष हो सकते हैं। इस हुलिए के आधार पर सीसीटीवी फुटेज और जनरल बुकिंग काउंटर के पास निगरानी की गई।

गिरफ्तारी की प्रक्रिया
बुधवार को सुबह करीब 6:15 बजे बिलासपुर रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर एक पर हावड़ा छोर तीन संदिग्ध व्यक्ति नजर आए। उसी समय 08264 बिलासपुर-टिटलागढ़ लोकल आने वाली थी। टीम ने तुरंत घेराबंदी कर इन तीनों को पकड़ लिया। जब इनसे पूछताछ की गई तो उन्होंने अपना नाम अमर कुमार मंडल (35), विशाल कुमार पासवान (36), और सदानंद कुमार मंडल (22) बताया, जो सभी बिहार के मुंगेर और भागलपुर जिलों से थे।

सख्त पूछताछ से खुलासा
पूछताछ में संतोषजनक जवाब न मिलने पर तीनों को थाने लाया गया, जहां सख्ती से पूछताछ की गई। तब यह खुलासा हुआ कि ये तीनों गैंग के सदस्य हैं जो ट्रेनों से यात्रियों का सामान चुराते हैं। लोकल ट्रेन में महिला यात्रियों के गहने चोरी करने के बाद उन्होंने इसे अपने साथ रखे बैग में छिपा लिया था।

कैसे करते थे चोरी
यह बात भी सामने आई कि ये गैंग के सदस्य पेपर पढ़ने की आड़ में यात्रियों के बैग से सामान चोरी करते थे। एक सदस्य महिला यात्री के पास बैठकर बातों में उलझा देता, दूसरा अखबार खोलकर बैग को आड़ देता, जबकि तीसरा सदस्य बैग को स्क्रू ड्राइवर से खोलकर सामान चुरा लेता था। इसके बाद खोले गए बैग की चेन को फिर से फेवीक्विक से चिपका दिया जाता था और वेसलिन लगाकर चेन बंद कर दी जाती थी।

गैंग का दूसरा पक्ष
तीनों आरोपितों ने बताया कि वे दोस्त हैं और अमर कुमार मंडल के कहने पर दूसरे दो आरोपी, सदानंद और विशाल, बिलासपुर आए थे। उन्होंने बताया कि कुछ दिन पहले एक महिला के बैग से सोने के गहने चोरी किए थे, जिसे टीम ने बरामद कर लिया।

बेचने का तरीका और अन्य जानकारी
चोरी किए गए सामान को वे बिहार के मुंगेर में बेचते थे, जहां यह लोकल ठठेरों को बेचा जाता था। इस मामले में आगे की जांच की जा रही है और इसके संबंध में और जानकारी एकत्र की जाएगी।

पिछले अपराधों का खुलासा
तीनों आरोपितों ने यह भी बताया कि वे पहले भी कई राज्यों में ट्रेन यात्रियों से सामान चुरा चुके हैं और कई बार गिरफ्तार हो चुके हैं। उनकी गिरफ्तारी से यह भी सामने आया कि यह गैंग 2012 से अब तक जीआरपी मिर्जापुर, जीआरपी जबलपुर, जीआरपी डाल्टनगंज, जीआरपी बरियारपुर और जीआरपी गढरवारा में गिरफ्तार हो चुका है।

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