स्वामित्व योजना: पीएम मोदी ने 7 राज्यों के ग्रामीणों को बांटे संपत्ति कार्ड, मिला जमीन का मालिकाना हक

Bhopal News | प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को मध्य प्रदेश समेत 7 राज्यों के लाखों ग्रामीणों को उनके जमीन का मालिकाना हक प्रदान किया। वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से पीएम मोदी ने स्वामित्व योजना के तहत संपत्ति कार्ड का ई-वितरण किया।

मध्य प्रदेश में 15 लाख 63 हजार से अधिक लोगों को संपत्ति कार्ड प्राप्त हुए। पीएम मोदी ने लाभार्थियों को संबोधित करते हुए कहा, “आज का दिन देश के गांवों और ग्रामीण अर्थव्यवस्था के लिए ऐतिहासिक है।” इस कार्यक्रम में कई राज्यों के राज्यपाल और मुख्यमंत्री शामिल हुए। ओडिशा, छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश, राजस्थान, यूपी के मुख्यमंत्री और महाराष्ट्र, गुजरात के प्रतिनिधि भी इस आयोजन से जुड़े थे।

पीएम मोदी का संदेश

पीएम मोदी ने आगे कहा, “यह कार्यक्रम गांवों से जुड़ी हजारों ग्राम पंचायतों और स्वामित्व योजना के लाखों लाभार्थियों के लिए एक बड़ा और महत्वपूर्ण आयोजन है। यह योजना जितनी व्यापक और उत्साहजनक है, उतनी ही प्रभावी भी है। मैं सभी को बधाई देता हूं।”

मध्य प्रदेश में राज्य स्तरीय कार्यक्रम

मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सिवनी में आयोजित राज्य स्तरीय कार्यक्रम में भाग लिया। राज्य के सभी जिला मुख्यालयों में कार्यक्रम आयोजित किए गए, जिनमें केंद्रीय मंत्री, प्रदेश के मंत्री, सांसद और विधायक भी शामिल हुए।

स्वामित्व योजना: लाभ कैसे प्राप्त करें

स्वामित्व योजना का उद्देश्य प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले व्यक्तियों को उनकी आबादी भूमि पर अधिकार अभिलेख प्रदान करना है। इन अधिकार अभिलेखों का उपयोग हितग्राही बैंक से ऋण लेने, संपत्ति को बंधक रखने और उसे बेचने में कर सकते हैं।

प्रदेश में लगभग 45.60 लाख निजी संपत्तियों का सर्वेक्षण किया गया है, जिसमें से 39.63 लाख संपत्तियों का सर्वेक्षण पूरा किया जा चुका है, जो निर्धारित लक्ष्य का 88 प्रतिशत है। अब तक 24 लाख निजी अधिकार अभिलेख वितरित किए जा चुके हैं।

प्रशिक्षण सत्र और कार्यक्रम

स्वामित्व योजना और “My Panchayat” एप का उपयोग, पंचायत राज संस्थाओं से संबंधित विषयों पर प्रशिक्षण सत्रों का आयोजन किया गया। इन सत्रों में सभी जिलों के प्रतिनिधि शामिल हुए, जिनमें मुख्यमंत्री द्वारा राज्य स्तरीय कार्यक्रम का हिस्सा बनने के साथ-साथ कई अन्य नेताओं और अधिकारियों ने योगदान दिया।

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