Ujjain News | शारदीय नवरात्रि का अंतिम चरण देवी भगवती और कुल देवी के पूजन का होता है, जो घरों में विशेष रूप से किया जाता है। इस साल नवरात्रि पूरे Nine दिन की है, लेकिन अष्टमी और नवमी तिथि का पूजा एक ही दिन सम्पन्न किया जाएगा। अष्टमी तिथि Thursday को दोपहर 12:30 बजे प्रारंभ होगी और Friday दोपहर 12:22 बजे तक रहेगी। इसके बाद नवमी तिथि प्रारंभ हो जाएगी।
महा-अष्टमी और नवमी का महत्व
महा-अष्टमी के पूजन के लिए घरों में कुल परंपरा के अनुसार सुबह या Evening के समय पूजा करना महत्वपूर्ण माना जाता है। देवी मंदिरों में भी महा-अष्टमी और नवमी के अवसर पर विशेष पूजा अनुष्ठान किए जाएंगे। पं. अमर डिब्बावाला ने बताया कि अश्विन शुक्ल प्रतिपदा से अश्विन शुक्ल नवमी तक शक्ति की साधना का पर्व मनाया जाता है।
नवरात्रि और पूजा की परंपरा
आदि शक्ति माता जगदंबा, जिनके कई नाम हैं, उनकी साधना का यह उत्सव काल Ashwin नवरात्रि के रूप में मनाया जाता है। इस बार नवरात्रि पूरे Nine दिन की मानी गई है, हालांकि अष्टमी और नवमी तिथि का पूजा एक ही दिन किया जाएगा। जिन परिवारों में कुल परंपरा के अनुसार सुबह या Evening के समय पूजा होती है, वे अपने परंपराओं के अनुसार तिथियों के हिसाब से पूजा करते हैं।